संपादक, न्यूज़NORTH
Scammers Hacked Indian Govt Website To Place Betting Gaming Ads?: आज इंटरनेट के इस दौर में लोगों को ऑनलाइन सेवाओं के चलते जितनी सहूलियतें मिल रहीं हैं, उतना ही इन चीजों को लेकर खतरा भी बढ़ता जा रहा है। हम बात कर रहे हैं ऑनलाइन स्कैम्स की, जिसके चलते हर दिन लाखों लोग विभिन्न तरीकों से ठगे जा रहे हैं। और अब ऐसा लगता है कि स्कैमर्स ने सरकार को भी नहीं छोड़ा। असल में सामने आ रही जानकारी के मुताबिक, भारत में केंद्र व राज्य सरकार की कुछ आधिकारिक वेबसाइटों को निशाना बनाया गया है।
स्कैमर्स ने भारत सरकार की तमाम वेबसाइटों पर ऑनलाइन सट्टेबाजी जैसी चीजों के लिंक प्लांट किए हैं। यह दावा TechCrunch की एक हालिया रिपोर्ट में किया गया है। रिपोर्ट के अनुसार, कुछ भारतीय सरकारी वेबसाइटों में स्कैर्स ने ऑनलाइन सट्टेबाजी प्लेटफार्मों के लिंक जोड़ दिए हैं, जिसके चलते यूजर्स सरकारी वेबसाइट के बजाए ऑनलाइन सट्टेबाज़ी जैसे प्लेटफ़ॉर्म में रीडायरेक्ट हो जा रहे हैं।
Scammers Hacked Indian Govt Website?
यह भी बताया गया कि “gov.in” वेबसाइटों को व्यापक रूप से इसका शिकार बनाया गया है। इसमें बिहार, गोवा, कर्नाटक, केरल, मिजोरम और तेलंगाना जैसे कुछ भारतीय राज्यों से जुड़ी आधिकारिक वेबसाइटें शामिल हैं। इन वेबसाइटों पर जाने वले यूजर्स ऑनलाइन सट्टेबाजी प्लेटफार्मों पर रीडायरेक्ट किए जा रहे हैं।
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इनमें से कुछ कुछ वेबसाइटें संबंधित राज्यों की पुलिस और टैक्स विभागों से जुड़ी भी बताई जा रही हैं। स्कैमर्स द्वारा सरकारी वेबसाइटों पर प्लांट किए गए लिंक को Google जैसे सर्च इंजनों ने भी इंडेक्स किया हुआ है। इसके जरिए इन फर्जी विज्ञापनों को ऑनलाइन ढूंढना भी आसान हो गया। न्यूज़North ने भी गोवा सरकार से संबंधित दिखाई पड़ने वाली एक वेबसाइट को जब गूगल पर सर्च किया तो उसमें किसी गेमिंग प्लेटफ़ॉर्म का जिक्र देखनें को मिला, जिसे आप नीचे देख भी सकते हैं,
रिपोर्ट के अनुसार, ये सरकारी वेबसाइटें, जिन लिंक्स पर रीडायरेक्ट कर रही हैं, उनमें ‘एशिया का सबसे लोकप्रिय ऑनलाइन सट्टेबाजी प्लेटफ़ॉर्म मंच और ‘भारत में नंबर वन ऑनलाइन क्रिकेट सट्टेबाजी ऐप’ जैसा लिखा आ रहा है। दिलचस्प रूप से फिलहाल इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) 2024 क्रिकेट टूर्नामेंट चल रहा है। और कथित रूप से ये वेबसाइट्स आईपीएल में भी सट्टेबाजी करने की सुविधा देने का दावा कर रही हैं।
वैसे अब तक यह साफ नहीं हो सका है कि आखिर इन स्कैमर्स ने भारत सरकार की वेबसाइटों पर अपने विज्ञापन या रीडायरेक्शन लिंक कैसे लगाए। और ये लिंक आखिर कितने समय से कब तक के लिए एक्टिव थे, इसका भी कोई अंदाज़ा अभी तक नहीं लग सका है।
इस बीच टेकक्रंच की रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि इसने इस खामी के बारे में भारत की कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम (CERT-In) को सूचित कर दिया है और साथ ही प्रमाण के तहत कुछ प्रभावित सरकारी वेबसाइटों के लिंक भी प्रदान किए हैं। इसके बाद भारतीय साइबर एजेंसी ने ईमेल प्राप्त होने की पुष्टि भी की है। उम्मीद है कि एजेन्सी जल्द इस समस्या को हल कर सकती है।