संपादक, न्यूज़NORTH
SEBI rejected extended trading hours plan: सामने आ रही ताजा जानकारी के अनुसार, भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने डेरिवेटिव सेगमेंट में ट्रेडिंग का समय बढ़ाने संबंधित नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) के प्रस्ताव को ठुकरा दिया है। इस भारतीय बाजार नियामक ने फिलहाल ट्रेडिंग के लिए अतिरिक्त घंटों का समय देने से इनकार कर दिया है।
इसका खुलासा इकोनॉमिक टाइम्स की एक हालिया रिपोर्ट के हवाले से हुआ है। रिपोर्ट की मानें तो नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) के मैनेजिंग डायरेक्टर और सीईओ, आशीष कुमार चौहान ने मंगलवार की सुबह इस बारे में जानकारी साझा की। एक विश्लेषक कॉल के दौरान एनएसई के एमडी और सीईओ ने बताया कि ब्रोकर कम्युनिटी के बीच आम सहमति की कमी के कारण सेबी ने ट्रेडिंग समय बढ़ाने के एक्सचेंज के प्रस्ताव को वापस कर दिया गया है।
SEBI rejected extended trading hours plan
असल में एनएसई सीईओ आशीष कुमार चौहान का कहना रहा कि स्टॉक ब्रोकर्स ने रेगुलेटर यानी सेबी की ओर से ट्रेडिंग समय को बढ़ाने के लिए मांगे गए फीडबैक नहीं दिए है, ऐसे में फिलहाल ट्रेडिंग की समय-सीमा को को बढ़ाने की पहल को स्थगित कर दिया गया है। सेबी को सौंपा गया प्रस्ताव खारिज हो चुका है।
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क्या था प्रस्ताव?
पिछले साल नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ने चरणबद्ध तरीके से इंडेक्स F&O ट्रेडिंग के लिए कुछ घंटों का विस्तार माँगते हुए एक प्रस्ताव सौंपा था। तब एक्सचेंज का कहना था कि वह संबंधित विभिन्न हितधारकों के प्रतिनिधित्व के साथ चरणबद्ध तरीके से इक्विटी डेरिवेटिव के लिए ट्रेडिंग के समय को बढ़ाने की योजना बना रहा है। इसी के चलते भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड को मंजूरी हेतु एक प्रस्ताव बना के दिया गया था।
अपने इस प्रस्ताव में एनएसई ने सेबी से शाम 6 बजे से रात 9 बजे के बीच डेरिवेटिव बाजार को तीन अतिरिक्त घंटों के लिए खुला रखने की बात कही थी। पहले चरण में यह शाम 6 बजे और रात 9 बजे के बीच शाम के सत्र होंगे। असल में मौजूदा ट्रेडिंग समय यानी सुबह 9:15 बजे से दोपहर 3:30 बजे के नियमित व्यापारिक घंटों के अलावा इनको जोड़ा जाना था।
वहीं दूसरे चरण में इंडेक्स डेरिवेटिव ट्रेडिंग को रात 11:30 बजे तक बढ़ाये जाने का प्रस्ताव था। जबकि अंतिम व तीसरे चरण के तहत नकदी बाजार में ट्रेडिंग का समय शाम 5 बजे तक बढ़ाने की योजना है। इस तरह NSE चरणबद्ध रूप से इक्विटी डेरिवेटिव सेगमेंट में ट्रेडिंग घंटे कि बढ़ाना चाहता है।
असल में भारत के इक्विटी और इक्विटी डेरिवेटिव बाजार दोपहर 3.30 बजे बंद हो जाते हैं, जबकि अधिकतर यूरोपीय इक्विटी बाजार, इस समय तक कारोबार के लिए खुल चुके होते हैं। हालाँकि अमेरिकी इक्विटी बाजार बंद हो जाते हैं।