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मोहर्रम के दौरान छाती पीटने और खून बहाने पर लगा बैन, अफगानिस्तान में तालिबान का फैसला – रिपोर्ट

मोहर्रम के दौरान छाती पीटने और खून बहाने पर लगा बैन, अफगानिस्तान में तालिबान का फैसला – रिपोर्ट

  • तालिबानी शासन ने मोहर्रम पर सड़कों पर छाती पीटने और खुद को मारने पर बैन लगाया.
  • शिया धर्म गुरुओं से बकायदा सहमति लेकर देश में बनाया नया कानून.

Ban on mourning during Moharram procession: अफगानिस्तान में जब से तालिबान ने देश की सत्ता अपने हाथ ली है, तब से ही देश में अलग अलग सख्त कानून बनाकर एक अलग तालिबानी देश के रूप में पहचान बनाने में कामयाब हुआ है।

देश में महिलाओं के लिए सख्ती और अन्य कई तालिबानी फरमान ने जहा देश के कुछ नागरिकों को खुश किया है, तो वही कुछ लोगों ने इसकी दबी जुबान में खूब आलोचना की है।

इसी क्रम में अफगानिस्तान की तालिबान सरकार ने देश में एक बड़े धार्मिक मुद्दे को लेकर अब सख्त फैसला लेकर एक बार तालिबानी फरमान सुनाया है।

मोहर्रम में शरीर में चोट मारने में बैन

तालिबानी सरकार ने देश में अब मोहर्रम के अवसर में सड़कों में छाती पीटने और खुद को मारने पर बैन लगा दिया है। मोहर्रम को लेकर तालिबान ने कड़े कानून बनाए हैं, जिसमें कहा गया है कि शोक मनाने वाले समूहों को अब खुद को मारना मना है, इसके साथ ही मोहर्रम पर छाती पीटना पूरी तरह से वर्जित है।

आदेश के पहले शिया धर्मगुरु से अनुमति

अफगानिस्थान में मोहर्रम के जुलूस में शोक व्यक्त करने के लिए अपने शरीर को जख्मी करने वाली वर्षो पुरानी इस्लामिक परंपरा को खत्म करने या उसके खिलाफ़ आदेश जारी करने से पूर्व अफगानिस्थान की तालिबानी सरकार ने देश में शिया धर्म गुरुओं से बकायदा सहमति ली है।

मोहर्रम को लेकर क्या नियम बनाए गए?

देश में मोहर्रम को लेकर तालिबानी सरकार ने कानून में कई प्रकार के नियमों का पालन करने का आदेश सुनाया है। तालिबानी सरकार ने शोक समारोह के दौरान विलाप पाठ और अन्य ऑडियो बजाए बजना जानें में रोक लगाया। इसके साथ ही जुलूस के दौरान झंडों और पोस्ट पर किसी भी तरह के राजनीतिक नारे, अनुचित फोटो या दूसरे देशों की शर्तों को लिखना पूरी तरह से मनाही है।

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शोक मनाने वालों को समूह में नहीं आने के लिए कहा गया है, शोक मनाने वालों को प्रवेश करने के बाद मस्जिदों का दरवाजा बंद कर देना चाहिए। बंद दरवाजे के पीछे ही शोक समारोह मनाए जाएंगे, शोक समारोह को खुले रूप से सड़को में मनाए जानें पर पाबंदी लगाई गई है।

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गौरतलब हो, अफ़गानिस्तान की तालिबान सरकार देश में शरिया कानून के मुताबिक चलती है, ऐसे में सरकार द्वारा लागू फैसलों को लेकर देश मे प्रत्येक नागरिक को पालन करना अनिवार्य है। ऐसे में  इस कानून के तहत किसी भी व्यक्ति का मजाक बनाने की अनुमति नहीं दी जाएगी, जो इन शर्तों को नहीं (Ban on mourning during Moharram procession) मानेंगे उनपर कठोर कार्रवाई की जाएगी.

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