संपादक, न्यूज़NORTH
Startup News – ApniBus: भारतीय परिवहन सेगमेंट में इनोवेशन व स्टार्टअप के लिहाज से आज भी आपार संभावनाएँ नजर आती हैं। और अब इसी क्षेत्र से जुड़े इंटरसिटी बस प्लेटफॉर्म ApniBus ने Antler India के नेतृत्व में प्री-सीड फंडिंग हासिल की है।
आपको बता दें इस निवेश दौर में हासिल की गई राशि का खुलासा नहीं किया गया है। वैसे Antler India के साथ ही इस प्री-सीड फंडिंग राउंड में GoodWater Capital, नीरज सिंह (Spinny के संस्थापक और सीईओ) और आशीष महापात्रा (OfBusiness के संस्थापक और सीईओ) जैसे अन्य निवेशकों ने भी अपनी भागीदारी दर्ज करवाई।
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गुरुग्राम आधारित ApniBus की शुरुआत साल 2021 के अंत में सुमित गुप्ता (Sumit Gupta) और रवि यादव (Ravi Yadav) ने मिलकर की थी।
सुमित ने पहले YellowPedal नामक स्टार्टअप भी शुरू किया था, जो असल में एक फुल-स्टैक बस संचालन प्लेटफ़ॉर्म है, जो उत्तर भारत में अग्रणी बस ऑपरेटरों में से एक बन चुका है। इसी से प्राप्त अनुभवों के आधार पर ApniBus की नींव डाली गई है।
इस स्टार्टअप द्वारा पेश की जाने वाली ‘जस्ट-इन-टाइम बुकिंग’ सुविधा के जरिए जहाँ एक ओर लाखों इंटरसिटी ट्रैवल करने वाले यात्रियों को लाभ मिलता है, वहीं साथ-साथ टिकट, इन्वेंट्री और फ्लीट मैनेजमेंट के लिहाज से बस ऑपरेटरों को भी मदद मिलती है।
ApniBus यात्रियों को अपने ऐप के जरिए इंटरसिटी बस खोजने, ट्रैक करने और बुक करने जैसी सहूलियतों की पेशकश करता है। फिलहाल यह 15 से अधिक शहरों में 1,000 से अधिक गंतव्यों को जोड़ने वाले 350 मार्गों पर अपना संचालन कर रहा है।
स्टार्टअप का दावा है कि इसने केवल 7 महीनों में ही प्लेटफ़ॉर्म पर 2 लाख से अधिक मासिक लेनदेन दर्ज किए हैं, जो महीने दर महीने और तेजी से बढ़ रहा है।
इस निवेश को लेकर स्टार्टअप के सह-संस्थापक, सुमित गुप्ता ने कहा;
”करीब 1 से 3 करोड़ भारतीय रोजाना इंटरसिटी बसों से सफर करते हैं। इसके बाद भी यह बाजार वर्तमान समय में पूरी तरह से ऑफलाइन व जटिल बना हुआ है। ऑनलाइन तरीके से होने वाली 5% से भी कम बुकिंग में भी बस शेड्यूल आदि को लेकर कोई पारदर्शी तरीका नहीं है,जो बड़े पैमाने पर टियर-1 इंटरसिटी ट्रैवल मार्केट को कवर करता हो।”
“इसके साथ ही टियर-3 और टियर-4 इंटरसिटी ट्रैवल मार्केट में भी अपार संभावनाएँ मौजूद हैं। इसलिए हमने बस यात्रा का डिजिटलीकरण करते हुए, इसे रियल टाइम इन्वेंट्री, रियल टाइम शेड्यूल मैनेजमेंट आदि को लेकर समाधान तैयार किए हैं, ताकि यात्रियों को बस स्टॉप पर घंटों इंतजार न करना पड़े या बिना सीट के लंबी यात्रा पर यात्रा न करनी पड़े।”