e-commerce websites selling gangsters’ t-shirts: दाऊद इब्राहिम और लॉरेंस बिश्नोई की प्रिंट वाली टी-शर्ट बेचने वाले विक्रेताओं और ई-कॉमर्स प्लेटफार्मों के खिलाफ महाराष्ट्र सायबर एफआईआर दर्ज किया गया है। महाराष्ट्र साइबर विभाग ने सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 की संबंधित धाराओं के साथ-साथ भारतीय दंड संहिता की धारा 192 (उकसाना), 196 (शत्रुता को बढ़ावा देना), और 353 (सार्वजनिक शरारत) धारा के तहत ई-कॉमर्स प्लेटफार्मों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की है।
मामले के संबंध में महाराष्ट्र साइबर पुलिस अधिकारियों ने गुरुवार को यह जानकारी दी। एक अधिकारी ने कहा कि आपराधिक व्यक्तियों को आदर्श बनाने वाले ये उत्पाद (मूल्यों की) विकृत छवि को बढ़ावा देकर समाज के लिए बड़ा खतरा पैदा करते हैं, जिसका युवा मन पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है।
इन e कॉमर्स कंपनियों के ऊपर हुई कार्रवाई
फ्लिपकार्ट, अलीएक्सप्रेस और टीशॉपर तथा ईटीसी जैसी ई कंपनियों सहित कई ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म लॉरेंस बिश्नोई और दाऊद इब्राहिम जैसे गैंगस्टर का महिमामंडन करने वाली टी-शर्ट बेच रहे थे। हाल ही में e कॉमर्स वेबसाइट Meesho में ऐसी गैंगस्टर की फ़ोटो छपी कुछ टीशर्ट के स्कीन शॉट पेशे से पत्रकार अलीशान जाफरी ने अपने X अकाउंट में शेयर करते हुए कहा था कि कि मीशो और टीशॉपर जैसे अन्य ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म लॉरेंस बिश्नोई की फोटो वाली टी-शर्ट बेच रहे हैं, जिनमें से कुछ पर “गैंगस्टर” शब्द भी लिखा हुआ है, जो कि खूब वायरल हुआ था। लोगों ने इस पोस्ट में खूब प्रतिक्रिया व्यक्त की थी।
गौरतलब हो, ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म Meesho में गैंगस्टर लॉरेंस विश्नोई की फ़ोटो वाली टीशर्ट सभी साइज़ में बच्चों से लेकर जवान लोगों के लिये सिर्फ 166 से 177 रुपए कीमत में उपलब्ध है, जो कि बड़ी आसान तरीके से उपलब्ध हो रही है थी।
न्यूज़North अब WhatsApp पर, सबसे तेज अपडेट्स पानें के लिए अभी जुड़ें!
दावा किया जा रहा है ऐसी टीशर्ट Meesho के अलावा अन्य ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म Flipcart और अन्य जगहों में उपलब्ध है अब इसी बात को संज्ञान में लेते हुए मुंबई सायबर सेल ने उक्त कम्पनियों के खिलाफ़ मामला दर्ज करके यह स्पष्ट संदेश देने का काम किया है कि कोई भी e कॉमर्स कंपनियों द्वारा बेची जा रही साम्रगी जो आपराधिक जीवनशैली का महिमामंडन करती और समाज के मूल्यों को नुकसान पहुंचाती है वह (e-commerce websites selling gangsters’ t-shirts) एक अपराध है।
‘बहुसंख्यकों के हिसाब से चलेगा कानून’ बोलने वाले जज के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट ने शुरू की जांच