83,000 Indians took British citizenship in 5 years: जिन भारतीयों के पूर्वजों ने कभी ब्रिटिश शासन के खिलाफ़ विद्रोह करते हुए भारत में ब्रिटिश शासन को उखाड़ फेंका था वही भारतीय अब ब्रिटेन में नागरिकता और वीजा लेने में दुनिया भर के अन्य देशों में सबसे आगे है। इसमें एक और दिलचस्प बात पाकिस्तान के नागरिकों के भी है, वह भी ब्रिटेन में नागरिकता लेने में दिलचस्पी दिखाने में पीछे नहीं है।
यह दोनों वही देश है, जो कभी भारत में ब्रिटिश शासन से पहले एक देश हुआ करते थे, और दोनों ही जगहों के नागरिकों ने ब्रिटिश शासन के खिलाफ़ आवाज उठाई थी।
ब्रिटेन में नागरिकता लेने में भारतीयों की दिलचस्पी हालिया आए आंकड़ों से पता चली है। आपकों बता दे, साल 2023 में ब्रिटेन में 2.50 लाख भारतीय अलग-अलग कारणों से पहुंचे। ये किसी भी देश से ब्रिटेन जानें वाले लोगों की सबसे बड़ी संख्या है।
इसके अलावा बीते 5 साल में 83,468 भारतीयों ने भारत की नागरिकता छोड़कर ब्रिटेन की नागरिकता ली है। यूरोप के किसी भी देश में ये सबसे ज्यादा आंकड़ा है
पाकिस्तान भी पीछे नहीं
ब्रिटेन में जानें वाले लोगों में पाकिस्तान के नागरिक भी पीछे नहीं है, भारत से ब्रिटेन जाने वाले नागरिकों की संख्या 2.50 लाख के साथ पहले नंबर में है तो वही पाकिस्तान के नागरिक इस लिस्ट में नाइजीरिया, चीन के नागरिकों के बाद चौथे स्थान में मौजूद है। नाइजीरिया से बीते साल ब्रिटेन में 1.41 लाख लोग तो वही 90,000 चीनी और 83,000 पाकिस्तानी (83,000 Indians took British citizenship in 5 years) ब्रिटेन पहुंचे।
ब्रिटेन किस वजह से जा रहे भारतीय
आंकड़ों की माने तो भारत से ब्रिटेन जाने वाले 2.50 नागरिकों में से 1.27 लाख लोग काम के सिलसिले में, 1.15 लाख लोग पढ़ने और 9,000 दूसरी वजहों से ब्रिटेन पहुंचे है। ब्रिटेन ने 2023 में कुल 3.37 लाख लोगों को काम करने के लिए वर्क वीजा उपलब्ध किया था। इनमें से 18,000 भारतीयों को केयर वर्कर वीजा मिला, जिसमें से 11,000 नर्स वीजा थे।
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पढ़ाई के लिए भारतीयों को ब्रिटेन पसंद
ब्रिटेन में विदेश से आए 1.14 लाख लोगों को ग्रेजुएशन वीजा दिया गया, जिनमें 50,000 भारतीय शामिल हैं। आपकों बता दे, शिक्षा वीजा के तहत भारतीय पढ़ाई के बाद ब्रिटेन में बिना वर्क वीजा के नौकरी कर सकते हैं, यही कारण है की ब्रिटेन में शिक्षा वीजा प्राप्त करने वाले भारतीयों की संख्या अन्य देशों के नागरिकों से अधिक है।