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Byju’s को अमेरिकी कोर्ट से बड़ा झटका, छिन गया ‘स्थानीय इकाई पर नियंत्रण’

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Byju’s Loses US Arm After Delaware Court Ruling on Loan Default: एक समय भारत के सबसे मूल्यवान स्टार्टअप्स में शुमार एडटेक कंपनी Byju’s आज तमाम मुश्किलों में घिरती दिख रही है। और फिलहाल इसे कोई बड़ी राहत मिलती भी नजर नहीं आ रही है। नई मुसीबत के तहत अब Byju’s को अमेरिकी कोर्ट से एक बड़ा झटका लगा है। डेलावेयर सुप्रीम कोर्ट (Delaware Supreme Court) ने लगभग $1.2 बिलियन के टर्म लोन डिफॉल्ट के मामले में Byju’s के खिलाफ फैसला सुनाया है।

इस फ़ैसले का असर ये हुआ कि कंपनी अपनी अमेरिकी सब्सिडियरी यानी Byju’s Alpha Inc. का नियंत्रण खो चुकी है। आपको बता दें, कंपनी ने 2021 में कई बड़े अधिग्रहण करने के साथ ही, उसी साल अमेरिकी मार्केट में भी कदम रखा था। लेकिन अब स्थानीय इकाई को लेकर लोन डिफॉल्ट और कानूनी विवादों के चलते, कंपनी की वित्तीय स्थिति बहुत अच्छी नहीं कही जा सकती है।

Delaware Court Ruling: Byju’s Case

हुआ ये था कि Byju’s ने 2021 में $1.2 बिलियन का टर्म लोन लिया था। यह लोन 37 वित्तीय संस्थानों के समूह द्वारा दिया गया था। इस लोन के लिए Byju’s की अमेरिकी सब्सिडियरी Byju’s Alpha को कोलैटरल के रूप में रखा गया था। शर्तों के तहत, अगर लोन डिफॉल्ट होता है तो लोनदाताओं को इसकी अमेरिकी इकाई का कंट्रोल मिल जाएगा।

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इसके बाद, आर्थिक संकट से घिरे Byju’s को मार्च 2023 में लोन डिफॉल्ट का नोटिस जारी किया गया। लोनदाताओं की ओर से Glass Trust को यह अधिकार मिला कि वे Byju’s के डिफॉल्ट लोन के बाद Byju’s Alph पर दावा कर सकते हैं। Glass Trust ने इसके बाद कोर्ट का दरवाजा खटखटाया और अगस्त 2023 में डेलावेयर कोर्ट ऑफ चांसरी (Delaware Court of Chancery) ने उनके पक्ष में फैसला सुनाया। कोर्ट ने कहा कि Glass Trust को लोन एग्रीमेंट के तहत दिए गए अधिकार वैध हैं और उन्होंने जो कार्रवाई की, वह नियमों के अनुसार थी।

डेलावेयर सुप्रीम कोर्ट में अपील

इसको लेकर Byju’s ने फैसले के खिलाफ डेलावेयर सुप्रीम कोर्ट में अपील की थी, जिसमें उन्होंने दावा किया कि चूंकि न्यूयॉर्क कोर्ट में भी एक समान मामला पेंडिंग है, तो इस मामले को स्थगित किया जाना चाहिए। हालांकि, डेलावेयर सुप्रीम कोर्ट ने 23 सितंबर 2023 को Byju’s की अपील को खारिज कर दिया और कहा कि कंपनी के पास पहले ही मामले को सुलझाने का पर्याप्त अवसर था, जिसे वह इस्तेमाल नहीं कर पाई।

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Byju’s India पर प्रभाव नहीं?

डेलावेयर कोर्ट से झटके के बाद कंपनी ने कहा है कि कोर्ट के फैसले का भारत में चल रही कार्यवाही पर कोई असर नहीं होगा। यह भी बताया गया कि Glass Trust की कार्रवाई की वैधता अब भी न्यूयॉर्क सुप्रीम कोर्ट में पेंडिंग है। वहीं Byju’s की पैरेंट कंपनी Think & Learn की इनसॉल्वेंसी प्रक्रिया में ग्लास CoC का सदस्य नहीं है।

गौर करने वाली बात ये है कि Glass Trust ने न केवल अमेरिका में, बल्कि भारत में भी $1.2 बिलियन के इस लोन को लेकर कानूनी कदम उठाए हैं। हालांकि, भारत में चल रही दिवालिया प्रक्रिया के तहत Glass Trust को हाल ही में कमेटी ऑफ क्रेडिटर्स (CoC) से हटा दिया गया है। इस फैसले के खिलाफ लोनदाताओं ने भारत के सुप्रीम कोर्ट में अपील की है।

लेकिन इस दौरान Byju’s के सामने अब सबसे बड़ी चुनौती यह है कि वह कैसे अपने वित्तीय और कानूनी मामलों को सुलझाता है। अमेरिकी सब्सिडियरी का नियंत्रण खोने से कंपनी की अंतरराष्ट्रीय विस्तार की योजनाओं को बड़ा झटका लगा है। इसके अलावा, भारत में चल रही कानूनी प्रक्रिया भी कंपनी के लिए एक मुश्किल पैदा कर रही हैं।

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