SEBI Chief Madhabi Buch & Congress Controversy: हाल ही में हिंडनबर्ग द्वारा लगाए गए गंभीर आरोपों के चलते पहले ही विवादों में घिरी नज़र आ रही बाजार नियामक SEBI की चेयरमैन माधबी पुरी बुच पर अब कांग्रेस ने नए आरोप लगाए हैं। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और मीडिया प्रभारी पवन खेड़ा ने आज एक व्यापक प्रेस वार्ता आयोजित करते हुए सेबी चेयरमैन माधबी पुरी बुच को लेकर कई खुलासे किए और उन पर कुछ गंभीर आरोप भी लगाए। इसमें सबसे प्रमुखता से ICICI बैंक से वेतन लेने का मामला उठाया गया।
कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने आरोप लगाया कि SEBI की वर्तमान प्रमुख माधबी पुरी बुच ICICI बैंक से भी वेतन प्राप्त कर रही थीं, जो नियमों के उल्लंघन का सीधा मामला बनता है। उन्होंने कहा कि सेबी का मुख्य कार्य शेयर बाजार को विनियमित करना है, जो देश के निवेशकों के पैसे की सुरक्षा से जुड़ा है। ऐसे में सेबी चेयरमैन को लेकर सामने आई ये दावे और भी गंभीर हो जाते हैं।
SEBI Chief vs Congress: तीन जगहों से सैलरी लेने का आरोप
पवन खेड़ा ने यह भी दावा किया कि माधबी पुरी बुच को 2017 से 2024 के बीच ICICI बैंक से ₹16 करोड़ 80 लाख का वेतन प्राप्त हुआ। उन्होंने सवाल उठाया कि जब बुच SEBI की पूर्णकालिक सदस्य हैं, तो वे ICICI बैंक से वेतन क्यों ले रही थीं? यह एक बड़ा सवाल है और नियमों के उल्लंघन का मामला भी हो सकता है। खेड़ा ने यह भी आरोप लगाया कि 2019-20 में उनकी सैलरी में वृद्धि भी हुई थी, जो संदेह को और गहरा करती है।
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कांग्रेस ने यह भी आरोप लगाया कि सेबी चेयरमैन माधबी पुरी बुच तीन अलग-अलग जगहों से वेतन ले रही थीं, जिनमें आईसीआईसीआई बैंक, आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल और SEBI शामिल हैं। कांग्रेस का कहना है कि यह एक गंभीर मामला है और इसके पीछे के कारणों की जांच की जानी चाहिए।
LIVE: Congress Party briefing by Shri @Pawankhera at AICC HQ. https://t.co/9cRtXY9LA1
— Congress (@INCIndia) September 2, 2024
हिंडनबर्ग ने भी लगाए थे SEBI प्रमुख पर आरोप
कुछ समय पहले शॉर्ट सेलिंग कंपनी हिंडनबर्ग ने भी एक रिपोर्ट में माधबी पुरी बुच पर आरोप लगाए थे कि उन्होंने Adani Group की शेल कंपनियों में पैसा निवेश किया है। हालांकि, SEBI प्रमुख ने इन आरोपों को बेबुनियाद बताया था। लेकिन अब कांग्रेस के नए आरोपों ने इस पुराने विवाद को भी फिर से सामने रख दिया है।
कांग्रेस ने यह भी सवाल किया कि सेबी चेयरमैन की नियुक्ति कौन करता है? कांग्रेस का कहना है कि यह नियुक्ति कैबिनेट, प्रधानमंत्री और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की नियुक्ति समिति द्वारा की जाती है। ऐसे में इस समिति की जिम्मेदारी बनती है कि वह इन आरोपों की जांच करे और उचित कदम उठाए। पहले हिंडनबर्ग और अब कांग्रेस के इन नए आरोपों के बीच यह देखना दिलचस्प होगा कि SEBI और सरकार इस मामले में क्या कदम उठाते हैं?