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भारत में लागू हुए नए क्रिमिनल कानून, दिल्ली में पहली FIR भी हुई दर्ज

भारत में लागू हुए नए क्रिमिनल कानून, दिल्ली में पहली FIR भी हुई दर्ज

  • नए आपराधिक कानून के तहत देश में पहली FIR दर्ज
  • लोगों को जागरूक करने के लिए पुलिस ने लगाए पोस्टर
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First FIR Under New Criminal Law: 1 जुलाई 2024 से भारत में तीनों नए क्रिमिनल/आपराधिक कानूनों को लागू कर दिया गया है। आज से भारतीय दंड संहिता (Indian Penal Code), दंड प्रक्रिया संहिता (Code of Criminal Procedure), और भारतीय साक्ष्य अधिनियम (Indian Evidence Act) के स्थान पर तीन नए कानून लागू हो गए हैं। इन नए कानूनों को भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता, और भारतीय साक्ष्य अधिनियम के नाम से जाना जाएगा।

इतना ही नहीं बल्कि लागू होने के पहले ही दिन इस नए कानून के तहत देश में पहली एफआईआर भी दर्ज की गई है। यह एफ़आईआर दिल्ली में हुई है। दिल्ली के कमला मार्केट पुलिस थाने में सोमवार को भारतीय न्याय संहिता के तहत पहली एफआईआर दर्ज की गई है। यह एफआईआर नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के फुटओवर ब्रिज के नीचे अवरोध पैदा करने और सामान बेचने के आरोप में एक रेहड़ी-पटरी वाले के खिलाफ दर्ज की गई है।

First FIR Under New Criminal Law

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार कथित आरोपी बिहार का मूल निवासी बताया जा रहा है। उस पर आरोप है कि वह नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के फुटओवर ब्रिज के नीचे डीलक्स शौचालय के पास अपनी रेहड़ी लगाकर बीड़ी और सिगरेट बेच रहा था। पुलिस का कहना है कि उसकी इस दुकान के चलते वहां से गुजरने वाले आम लोगों को आने-जाने में दिक्कत का सामना करना पड़ रहा था।

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इसको लेकर बहुत से लोगों ने मौखिक रूप से शिकायतें भी की थीं। पुलिस की मानें तो रेहड़ी (दुकान) को हटाने के लिए कई बार उससे कहा भी गया था, लेकिन उसने इस ओर कोई कदम नहीं उठाया। इसके बाद पुलिस ने आरोपी का वीडियो बना लिया और उसके खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की धारा 285 के तहत एफआईआर दर्ज कर दी।

नए क़ानून लागू

जैसा हमनें पहले ही बताया की आज से देश भर में नए आपराधिक कानूनों को लागू कर दिया गया है। इसके साथ ही ब्रिटिश काल से चले आ रहे भारतीय दंड संहिता (IPC), दंड प्रक्रिया संहिता (CrPC), और भारतीय साक्ष्य अधिनियम का अंत हो गया है। अब से इनकी जगह भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम लेंगे।

बताया जाता है कि ये नए कानून आज की न्याय व्यवस्था को ध्यान में रखकर तैयार किए गए हैं और भारतीय कानून के क्षेत्र में एक नया युग शुरू करते हैं। बात भारतीय न्याय संहिता की करें तो यह कानून दंडात्मक और आपराधिक मामलों से संबंधित नई व्यवस्था की पेशकश करता है। वहीं भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता के तहत नागरिकों की सुरक्षा और कानूनी अधिकारों की रक्षा हेतु नियमों को तय किया गया है।

इस बीच नए भारतीय साक्ष्य अधिनियम में कानून के तहत साक्ष्यों की स्वीकार्यता और प्रबंधन को लेकर नए दिशा-निर्देश बनाए गए हैं।  1 जुलाई से लागू हुए इन नए कानूनों के चलते भारतीय न्याय व्यवस्था में एक महत्वपूर्ण परिवर्तन देखनें को मिल सकता है।

इस बीच नए आपराधिक कानूनों के बारे में लोगों को जागरुक करने के लिए दिल्ली में पुलिस द्वारा पोस्टर भी लगाए गए हैं। कुछ पोस्टरों में पुलिस द्वारा लिखा गया है कि नए आपराधिक कानून – भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम हैं और इनके बारे में जानकारी थाना कनॉट प्लेस से प्राप्त की जा सकती है।

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