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क्या है नेशनल हेल्थ क्लेम एक्सचेंज पोर्टल? हेल्थ इंश्योरेंस को लेकर सरकार का बड़ा कदम

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Image Credit: ClaimBuddy

National Health Claims Exchange Portal: हेल्थ इंश्योरेंस क्लेम की राशि को लेने के लिए इधर – उधर भटकने से लोगों की परेशानी में और अधिक इज़ाफा हो जाता है। बीमार व्यक्ति हेल्थ इंश्योरेंस क्लेम की राशि के लिए 10 प्रकार के दफ्तरों के चक्कर लगा-लगा कर थक जाता है फिर भी उसे अपनी क्लेम राशि नही मिलती।

अब इसी परेशानी से निजात दिलाने के लिए नेशनल हेल्थ अथॉरिटी (NHA) ने क्लेम सेटलमेंट के लिए नेशनल हेल्थ क्लेम्स एक्सचेंज (NHCX) बनाने के फैसला लिया है।

नेशनल हेल्थ क्लेम्स एक्सचेंज की सरंचना या कार्यप्राणली इस प्रकार विकसित की जायेगी कि क्लैम से सम्बन्धित सभी कार्य सिंगल विंडो सेटलमेंट सिस्टम के अंतर्गत हो जाया करेगा। आपकों बता दे, ऐसा होगा तो क्लेम लेते वक्त आपको यहां-वहां नही भटकना पड़ेगा।

नेशनल हेल्थ क्लेम्स एक्सचेंज में 50 बीमा कंपनी और 250 अस्पताल

आपकों बता दे,अलग- अलग बीमा कंपनियों ने अपनी – अपनी हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी के लिए अलग अलग प्रकार का हेल्थ क्लेम सिस्टम या यूं कहे, अपना खुद का प्लेटफॉर्म और प्रक्रिया बनाई हुई है। अगर नेशनल हेल्थ क्लेम्स एक्सचेंज की योजना शुरू की जाती है तो इसमें शुरआत में करीबन 250 हॉस्पिटल और 50 बीमा कंपनी की कार्यप्रणाली में एक समान प्रकिया का पालन किया जायेगा।

यह नेशनल हेल्थ क्लेम्स एक्सचेंज कस्टमर्स के लिए बड़ी राहत साबित होगा। उसे अपने हेल्थ इंश्योरेंस (National Health Claims Exchange Portal)  पॉलिसी के क्लेम के लिए भटकना नहीं होगा और इसकी प्रक्रिया पारदर्शी तरीके से पूर्ण की जायेगी।

क्लेम्स एक्सचेंज का फ़िलहाल हो रहा ट्रायल

स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, क्लेम्स एक्सचेंज का फिलहाल ट्रायल किया जा रहा है, इसके परिणाम आने के साथ ही इसे लागू कर दिया जाएगा। क्लेम्स एक्सचेंज को लेकर इंश्योरेंस सेक्टर की रेगुलेटर इरडा (IRDAI) ने सभी बीमा कंपनियों को इस नए प्लेटफॉर्म से जुड़ने के निर्देश दिए हैं, जानकारी के अनुसार, NHCX 2 से 3 महीने के अंदर लॉन्च कर दिया जाएगा।

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गौरतलब हो, फिलहाल हेल्थ इंश्योरेंस का लाभ लेने के लिए प्रक्रिया अधिक जटिल है,जिसमें पॉलिसी धारक या उसके परिजनों को हॉस्पिटल जाकर TPA को जमा करना पड़ता है, उसके बाद अस्तपताल प्रकिया शुरू करता है। इसमें कई प्रकार के दफ्तरों में चक्कर लगाने के बाद कई दफा पॉलिसी धारक के क्लेम राशि को नामंजूर कर दिया जाता है। ऐसे में सरकार इस नए प्लेटफॉर्म में लोगों की सुविधा को बढ़ाने साथ ही क्लेम प्रकिया को सरल करने के लिए योजना में काम कर रहा है।

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