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तीसरी तिमाही में Paytm को हुआ ₹778 करोड़ का घाटा, लेकिन राजस्व में 89% का उछाल

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Paytm Q3 FY22 Losses & Earning: पिछले साल नवंबर में IPO दायर करने के बाद डिजिटल पेमेंट दिग्गज़ Paytm ने अपनी पहली तिमाही राजस्व रिपोर्ट पेश की है। शुक्रवार को कंपनी द्वारा तीसरी तिमाही (Q3 2022) संबंधित रिपोर्ट पेश की गई।

One 97 Communications नामक मूल कंपनी के अंतर्गत अपना संचालन करने वाली Paytm ने का घाटा दिसंबर 2021 को समाप्त हुई तिमाही में बढ़कर ₹778.5 करोड़ तक पहुँच गया है।

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आपको बता दें पिछले अवधि की इसी तिमाही के लिए कंपनी के घाटे का आँकड़ा ₹535.5 करोड़ था, जो ज़ाहिर रूप से इस बार काफ़ी वृद्धि दर्ज करता नज़र आया है।

लेकिन इसी बीच कंपनी के लिए दिसंबर 2021 की तिमाही में कुल राजस्व की बात करें तो इसमें 89% की बढ़त देखी गई और ये आँकड़ा अब ₹1,456.1 करोड़ पहुँच चुका है, जो पिछले वित्त वर्ष की इसी अवधि में ₹772 करोड़ था।

Paytm ने शुक्रवार को BSE फाइलिंग में कहा;

“यह मजबूत बढ़त असल में MDR (मर्चेंट डिस्काउंट रेट) आधारित टूल्स जैसे Paytm Wallet, Paytm Bank Account, अन्य बैंक नेटबैंकिंग, डेबिट और क्रेडिट कार्ड के माध्यम से संसाधित व्यापारी भुगतान में वृद्धि की देह है। वहीं प्लेटफॉर्म पर ऋण का वितरण और वाणिज्य व्यवसाय की वसूली आदि पर कोविड का असर देखने को मिला।”

कंपनी के अनुसार इसकी तिमाही-दर-तिमाही वृद्धि त्योहारी सीजन में हाई डिमांड के चलते दर्ज की गई है, जिसमें विशेष रूप से ऑनलाइन और ऑफलाइन मर्चेंट व्यवसाय की व्यापाक हिस्सेदारी रही।

वहीं अपने ₹778 करोड़ के घाटे को लेकर कंपनी ने कोई विशेष कारण सामने नहीं रखें हैं, लेकिन ये माना जा सकता है कि अभी भी ई-कॉमर्स पर कैशबैक और छूट आदि कंपनी के घाटे में प्रमुख भूमिका निभा रहे होंगें।

कंपनी की एक व्यवसायिक शाखा, Lending ने Paytm के राजस्व बढ़त में एक अहम रोल अदा किया है। प्लेटफ़ॉर्म के ज़रिए 40 लाख से अधिक लोन दिए गए हैं, इसने वर्ष दर वर्ष के हिसाब से 401% वृद्धि दर्ज की है। इन तमाम लोन की कुल राशि ₹2,181 करोड़ रही, जो वर्ष-दर-वर्ष के हिसाब से 366% अधिक थी।

दिलचस्प ये है कि Paytm Lending का बड़ा हिस्सा मर्चेंट के बजाए उपभोक्ता मोर्चे पर अधिक रहा। कुल उधार राशि में से ₹474 करोड़ व्यापारियों द्वारा लिए गए थे, जबकि बाकी को कंपनी की “अभी खरीद बाद में भुगतान” और उपभोक्ताओं द्वारा पर्सनल लोन आदि के तहत लिए गए।

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वैसे Paytm ने कुल उपयोगकर्ता संख्या के मामले में भी वृद्धि दर्ज की है। प्लेटफ़ॉर्म पर उपभोक्ताओं की संख्या 350 मिलियन से अधिक हो गई है और व्यापारी आधार भी पहले के 20 मिलियन के मुक़ाबले 24.9 मिलियन हो गया है।

वित्त वर्ष 2022 की तीसरी तिमाही में औसत मासिक लेन-देन करने वाले उपयोगकर्ता 64.4 मिलियन रहे जो वर्ष-दर-वर्ष के हिसाब से 37% और तिमाही-दर-तिमाही हिसाब से 12% की बढ़त रही।

वहीं तीसरी तिमाही के दौरान ग्रॉस मर्चेंडाइज वैल्यू (GMV) सालाना आधार पर 123% बढ़कर $2.5 लाख करोड़ तक पहुँच गया। लेकिन GVM में फ़िलहाल को बदलाव नहीं हुए।

कंपनी का दावा है कि दिसंबर 2021 तक शुद्ध नकदी, नकद समकक्ष और निवेश योग्य शेष के मामले में भी कंपनी ₹10,215 करोड़ के साथ अच्छी तरह से वित्त पोषित कही जा सकती है।

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