संपादक, न्यूज़NORTH
सोमवार को लोकप्रिय सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म Twitter ने अचानक से किसी अस्पष्ट “कानूनी मांग” का हवाला देते हुए किसानों के चल रहे विरोध का समर्थन करने वाले कई अकाउंट को बंद कर दिया था। इसके बाद से ही ज़ाहिर तौर पर एक बड़े उपयोगकर्ता आधार में नाराजगी फैल गई है और वो Twitter से इसकी जवाबदेही की माँग करने लगे।
दरसल उपयोगकर्ताओं द्वारा Twitter पर ही प्लेटफ़ॉर्म के विरोध और इससे स्पष्टीकरण की मांग को लेकर तेज कैम्पेन तक चलाया गया। असल में नए कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसानों के विरोध से जुड़े कई अकाउंट इस बंद किए जाने वाले अकाउंट की लिस्ट में शुमार हैं।
आपको बता दें इसमें खोजी पत्रकारिता के लिए मशहूर The Caravan, क़िसान आंदोलन के समर्थन से जुड़े Kisan Ekta Morcha और Tractor2Twitr, ऐक्टिविस्ट हंसराज मीणा, आम आदमी पार्टी के विधायक जरनैल सिंह, प्रवक्ता प्रीति शर्मा मेनन, CPI(M) नेता मो. सलीम, अभिनेता सुशांत सिंह, और पत्रकार संजुक्ता बसु के अकाउंट शामिल रहे।
दरसल जिस “कानूनी मांग” माँग का हवाला देते हुए Twitter ने इन अकाउंट को बैन किया, उससे जुड़ी विस्तृत जानकारी अब तक सामने नहीं आ सकी है। लेकिन केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MeitY) के अधिकारियों ने खुलासा किया है कि उन्होंने ट्विटर को लगभग 20 अकाउंट और कई Tweets को ब्लॉक करने के लिए कहा है, जो #ModiPlanningFarmerGenocide नामक एक विशेष हैशटैग का इस्तेमाल करते हुए ट्वीट कर रहे थे।
इसके साथ ही इन बंद किए गए अकाउंट पर फ़ेंक, डराने और भड़काने वाले Tweets करने का भी कथित आरोप लगाया गया था।
दरसल ऐसी रिपोर्ट की सामने आई हैं कि केंद्रीय गृह मंत्रालय ने किसानों के विरोध को लेकर सोशल मीडिया पर बढ़ते आंदोलन के चलते MeitY को ऐसा करने के निर्देश दिए थे। सूचना के अधिकार अधिनियम की धारा 69ए के तहत इन Twitter अकाउंट्स को बंद करने और सार्वजनिक शांति की रक्षा व देश की अखंडता को बनाए रखने के लिए MeitY को ये आदेश दिया गया है।
इस बीच Twitter के एक प्रवक्ता ने एक बयान में कहा,
“अगर हमें किसी अधिकारिक इकाई से कुछ स्पष्ट निर्देशों व क़ानूनों का हवाला देते हुए कोई अनुरोध प्राप्त होता है तो समय-समय पर कुछ विशेष कंटेंट आदि को हटाया जा सकता है।”
ज़ाहिर है Twitter का ये क़दम 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस पर दिल्ली में हुई हिंसा के बाद आया है, जिसमें किसानों के ट्रैक्टर परेड के दौरान नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन किया गया था। लेकिन इसी दौरान कथित रूप से कुछ उपद्रवियों ने हिंसा को जानबूझकर भड़काया था, जिसके चलते कई लोगों के घायल होने की भी ख़बरें सामने आई थीं।
फिर से बहाल होने लगे Twitter अकाउंट
लेकिन अब इन अकाउंट पर की गई कार्यवाई के भारी विरोध के बाद Twitter ने अब बंद किए अकाउंट को वापस से बहाल करना शुरू कर दिया है।
इस बीच कंपनी ने साफ़ तौर पर कहा है कि सभी अकाउंट को बहाल किया जा रहा है। और कंपनी ने ये क़दम तब उठाया था जब भारत सरकार द्वारा “हिंसा को रोकने” का हवाला देते हुए कंपनी से 250 अकाउंट को बंद करने की माँग की गई थी।